सरसों से भी अधिक तेल उत्पादन देती हैं ये फसल, बंजर जमीन में होती है खेती

सरसों तेल की बढ़ती कीमतों को देखते हुए तिलहन फसलों की खेती को बढ़ावा दिया जा रहा है। तारामीरा एक ऐसी फसल है, जो सरसों की तरह होती है और पेराई के बाद तेल देती है।

– तारामीरा की खास किस्में हैं एईएस-1, एईएस-2, एईएस-3, एईएस-4, और आरएमटी-314। इनमें आरएमटी-314 सबसे उपयुक्त मानी जाती है।

– तारामीरा के लिए हल्की दोमट मिट्टी सबसे उपयुक्त है। अम्लीय और अधिक क्षारीय मिट्टी इसके लिए ठीक नहीं है।

– तारामीरा की फसल में दीमक का खतरा अधिक होता है।

बुवाई का समय मिट्टी की नमी और तापमान पर निर्भर करता है। -30 किलो नाइट्रोजन और 15 किलो फास्फोरस प्रति हेक्टेयर की दर से उर्वरक देना चाहिए।

मोयला कीट लगने पर मिथाइल पैराथियान, कार्बेरिल, या मैलाथियान चूर्ण का भुरकाव करें।

जब पत्ते झड़ने लगें और फलियां पीली पड़ जाएं, तो फसल काट लेनी चाहिए। कटाई में देरी होने पर दाने खेत में गिर सकते हैं, जिससे नुकसान हो सकता है।

सरसों की फसल की अधिक उपज प्राप्त करने के लिए जान ले ये बातें