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क्या आपने 2 मिनट में तैयार होने वाले ट्रैक्टर के बारे में सुना है? अगर नहीं सुना तो आज हम TractorBird के इस आर्टिकल में आपको ऐसे ही ट्रेक्टर के बारे में बताने वाले हैं जिसे 2 minute में बनाया जाता है।
आज हम इस पोस्ट में आपको पंजाब के होशियारपुर में स्थित दुनिया के सबसे बड़े Integrated Manufacturing Plant के बारे में बताने जा रहे हैं। इस Integrated Manufacturing Plant में Sonalika Tractors की मैन्युफैक्चरिंग की जाती है। आज हम जानेंगे सोनालिका के ट्रैक्टर्स कैसे बनाये जाते है और उनकी असेम्बलिंग कैसे की जाती है ।
जैसा की हम जानते हैं इंजन ट्र्रैक्टर का एक बहुत ही महत्वपूर्ण पार्ट होता है क्योंकि वह ट्रैक्टर की गति को बढ़ने में मदद करता है। इंजन किसी भी वाहन को चलाने के लिए मदद करता है। इंजन पावर produce करने के काम आता है। Sonalika ट्रैक्टर 20 HP से लेकर 120 HP तक के ट्र्रैक्टर्स के इंजन बनाता है।
अगर हम ट्रैक्टर के फ्रंट की बात करें तो उसका raw material पहले से ही तैयार होके रखा जाता है। इस फ्रंट को बनाने के लिए पतली सी पन्नी का इस्तेमाल किया जाता है और उस पर 1000 टन लोड रखा जाता है ताकि वह अपने उचित आकार में आ जाये।
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अगर हम तीसरे स्टेप की बात करें तो उसमें शाफ़्ट बनती है और Automated machines उन्हें अच्छी तरीके से Test करती है। Automated machines Diameter के हिसाब से शाफ़्ट को काटती है और अलग - अलग चैम्बर्स में इनकी टेस्टिंग की जाती है। ताकि डिफेक्टिव पार्ट्स को निकाला जा सके।
Sonalika के ट्रैक्टर्स की पेंटिंग की बात करें तो वो मैन्युअली नहीं की जाती क्योंकि ट्रैक्टर्स machines बहुत बड़ी और वजनदार होती है ऐसी machines को Robots के द्वारा पेंट कराया जाता है ताकि:
अगर हम ट्रैक्टर के प्लास्टिक पार्ट्स की बात करें तो सबसे पहले उस प्लास्टिक का raw material Machines में रखा जाता है और वो प्लास्टिक Heating Machines में जाकर melt होता है और अपना आकार लेता है।
जैसा की आप जानते है ट्रांसमिशन को ट्रैक्टर की रिड की हड्डी बोला जाता है। Engine से मिली हुई पॉवर को ट्रांसमिट करके उसे चलने के लिए तैयार करना यह काम ट्रांसमिशन सिस्टम द्वारा किया जाता है।
यह ट्रांसमिशन Rear Cover Testing मशीन में जाकर टेस्ट होता है और अगर इस ट्रांसमिशन में कुछ डिफेक्टिव होता है तो वो मशीन उस ट्रांसमिशन को आगे नहीं जाने देती।
अब तक इस लेख में हमने आपको तीन Main Parts के बारे में बताया। अब हम बात करते हैं ट्रेक्टर के पार्ट्स और उनको Assembling करने के बारे मैं :
सबसे पहले हम बात करें तो ट्रेक्टर के पार्ट्स की असेम्बलिंग बड़े और भारी पार्ट्स से होती है जैसे की ट्रांसमिशन, इंजन, hydraulics machine, रेडियेटर फैन लगाए जाते हैं जो की ट्र्रैक्टर के इंजन को ठंडा करते हैं। उसके बाद जो भी छोटे - छोटे ट्र्रैक्टर के पार्ट्स होते हैं वो लगाए जाते हैं जैसे की:
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ये सब पार्ट्स Assemble करने के बाद ट्र्रैक्टर को शक्ल दी जाती है और fender लगाए जाते हैं और साथ ही लाइट्स को लगाया जाता है।
ट्र्रैक्टर्स के सारे पार्ट्स Assemble होने के बाद उस पर कंपनी का नाम, मॉडल, वैरिएंट, कंपनी stickers, बैचिंग की जाती है।
ट्रेक्टर की पूरी Assembling होने के बाद उसकी टेस्टिंग की जाती है ताकि कोई भी ट्र्रैक्टर डिफेक्टिव न हो। ट्र्रैक्टर्स के टायर्स, इंजन, ट्रांसमिशन, लाइटिंग आदि को चेक किया जाता है।
अगर कोई भी डिफेक्टिव Piece निकलता है तो उसे बहार निकाल देते हैं और जो ट्र्रैक्टर टेस्टिंग में पास हो जाते है उन्हे आगे बढ़ा देते हैं।
Sonalika Tractor भारत में किसानों को बहुत पसंद आते है अगर हम सोनालिका ट्र्रैक्टर के World Wide Customers की बात करें तो 140 देशों में इसके 14,00,000 active Customers से भी ज्यादा है। भारत देश में इन ट्र्रैक्टर्स की बहुत डिमांड है।
आज Tractorbird की इस पोस्ट में हमने 2 मिनट में बनने वाले ट्र्रैक्टर के बारे में बताया। हमें आशा है कि आपको ये article पसंद आया होगा। अगर आपको ट्र्रैक्टर्स से रिलेटेड कोई भी जानकारी चाहिए तो आप हमारी वेबसाइट Tractorbird पर जाकर जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।