भारतीय मौसम विज्ञानं विभाग की और से जारी की गयी किसानों के लिए एडवाइजरी

By : Tractorbird News Published on : 06-Oct-2023
भारतीय

भारतीय मौसम विज्ञानं विभाग किसानों को हर टाइम अपडेट रखता है। IMD किसानों को आगामी मौसम की सटीक जानकारी देता है जिससे किसान मौसम की स्थिति के आधार पर अपने कृषि कार्य कर सके। भारतीय मौसम विज्ञानं विभाग किसानों की फसलों के लिए मौसम की स्थिति के आधार एडवाइजरी भी जारी करता है

जिससे किसान एडवाइजरी के आधार पर फसलों में कृषि कार्य कर सकते हैं। यहां आप वर्तमान मौसम की स्थिति के आधार पर कृषि से जुड़ी सम्पूर्ण जानकारी के बारे में जानेंगे।

चावल 

धान की फसल को शीथ ब्लाइट से बचाने के लिए खेत की मेड़ों से घास हटाकर साफ रखें। यदि फसल में रोग के लक्षण दिखाई दें तो 150 मिलीलीटर पल्सर या 26.8 ग्राम एपिक या 80 ग्राम नेटिवो या 200 मिलीलीटर अमिस्टार का छिड़काव मौसम साफ होने पर 200 लीटर पानी में प्रति एकड़ के हिसाब से करें।

जब पत्ती मोड़ किट की क्षति 10 प्रतिशत तक पहुंच जाए तो 20 मिलीलीटर फेम 480 एससी या 50 ग्राम ताकुमी 20 का छिड़काव करके नियंत्रित करें। फसल को फालस स्मट से बचाने के लिए 500 ग्राम कोसाइड या 400 मिली गैलीलियो वे को 200 लीटर पानी में मिलाकर प्रति एकड़ छिड़काव करें। 

गन्ना 

गन्ने के डंठल बेधक को नियंत्रित करने के लिए, 40 ट्राइको-कार्ड (5 सेमी x 2.5 सेमी) कठोर कागज के टुकड़े के साथ चिपका दें। जुलाई से अक्टूबर तक 10 दिनों के अंतराल पर निकलती हैं, प्रत्येक कार्ड में लगभग 500 परजीवी अंडे होते हैं।

मक्का

  • इष्टतम नमी स्तर पर अंतरपंक्ति खेती के लिए ट्रैक्टर संचालित उपकरणों का उपयोग करें।
  • मक्का बेधक के हमले को 30 मिलीलीटर कोराजन 18.5 एससी (क्लोरेंट्रानिलिप्रोल) के छिड़काव से रोका जा सकता है।
  • प्रति एकड़ 60 लीटर पानी में नैपसेक स्प्रेयर से बायोएजेंट ट्राइकोग्रामा चिलोनिस का भी उपयोग किया जा सकता है। 
  • 3 प्रतिशत यूरिया घोल के साप्ताहिक दो छिड़काव से खड़े पानी से होने वाले नुकसान को कम किया जा सकता है। 
  • फॉल आर्मीवर्म को नियंत्रित करने के लिए, अनाज की फसल पर कोराजन 18.5 एससी @ 0.4 मिलीलीटर प्रति लीटर पानी का छिड़काव करें।

सब्ज़ियाँ

  • अधिकतम उपज प्राप्त करने के लिए कद्दू , टमाटर, मिर्च, बैंगन और भिंडी जैसी अन्य सब्जियों की कटाई नियमित अंतराल पर करें। 
  • भिंडी में जैसिड को 80 मिलीलीटर नीम के साथ पाक्षिक अंतराल पर एक या दो बार छिड़काव करके नियंत्रित किया जा सकता है।

फल

नींबू वर्गीय फलों में 200 मिलीलीटर कॉन्फिडोर 17.8 एसएल या 160 ग्राम एक्टारा/डोटारा का छिड़काव करके साइट्रस साइला की रोकथाम की जा सकती है।

पशुपालन

  • पशुओं को सुबह के समय 50-100 ग्राम खनिज मिश्रण के साथ अच्छी गुणवत्ता वाला चारा खिलाएं इससे दूध की उत्पादकता बढ़ेगी और पशुओं की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ेगी।
  • पशुओं को हाइड्रेटेड रखने के लिए पर्याप्त स्वच्छ और ताजा पीने का पानी उपलब्ध कराएं।
  • गर्भाधान के अंतिम दो महीनों के दौरान पशुओं को उनकी आवश्यकता के अनुसार संतुलित आहार देना चाहिए , इससे ब्याने के बाद उनका उत्पादन बढ़ेगा।
  • इस दौरान पशुओं के आहार में अचानक कोई बदलाव नहीं करना चाहिए और खनिज मिश्रण का प्रयोग बंद कर देना चाहिए।




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